सिकंदराबाद के औद्योगिक क्षेत्र में वेस्ट मैनेजमेंट कंपनी में वेल्डिंग के दौरान चिंगारी से भीषण आग लग गई। हादसे में 6 कर्मचारी झुलस गए, जिनकी हालत नाजुक है।
सिकंदराबाद: रविवार दोपहर औद्योगिक क्षेत्र स्थित शीतल वेस्ट मैनेजमेंट प्रोजेक्ट में एक रीसाइक्लिंग यूनिट में अचानक लगी भीषण आग ने हड़कंप मचा दिया। घटना उस समय हुई जब टिन शेड के ऊपर वेल्डिंग का कार्य किया जा रहा था। वेल्डिंग से निकली चिंगारी नीचे रखे ज्वलनशील केमिकल पर गिरी और आग ने कुछ ही क्षणों में विकराल रूप ले लिया।
हादसे में 6 मजदूर गंभीर रूप से झुलस गए, जिन्हें नवीन अस्पताल में भर्ती कराया गया है। पीड़ितों की पहचान विक्रम (22), साहिल (22), लकी (36), उमेश (35), मुरली (22) और प्लांट इंचार्ज नरेंद्र के रूप में हुई है। सभी घायल गाजियाबाद के थाना रिंग रोड क्षेत्र अंतर्गत झंडापुर गांव के निवासी हैं।
चौंकाने वाली बात यह है कि ये मजदूर उसी दिन ठेकेदार के माध्यम से पहली बार फैक्ट्री में आए थे और इन्हें कार्य की स्पष्ट जानकारी तक नहीं दी गई थी। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, आग इतनी तेजी से फैली कि भागने तक का मौका नहीं मिला।
तीन घंटे बाद काबू पाई आग
दमकल विभाग की 7 गाड़ियों ने करीब 3 घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। इस दौरान सीओ भास्कर कुमार मिश्रा, तहसीलदार धर्मेंद्र भारती और कोतवाली प्रभारी अनिल कुमार शाही राहत और बचाव कार्य की निगरानी करते रहे।
गंभीर लापरवाही उजागर
फायर ऑफिसर प्रमोद कुमार शर्मा ने बताया कि वेल्डिंग के दौरान लगी आग ने वायरिंग को भी चपेट में ले लिया, जिससे अग्निशमन यंत्र काम नहीं कर सके और फायर हाइड्रेंट भी फेल हो गया। सेफ्टी टैंक से पानी निकालकर आग बुझाने की कोशिश की गई, लेकिन सुरक्षा मानकों की भारी अनदेखी के कारण स्थिति गंभीर हो गई।
फैक्ट्री मालिक मौके पर मौजूद
फैक्ट्री के मालिक राजेंद्र, निवासी गाजियाबाद, घटना के समय परिसर में ही मौजूद थे। प्रारंभिक जांच में यह सामने आया है कि फैक्ट्री में न तो सुरक्षा मानकों का पालन किया गया था और न ही कर्मचारियों को कोई प्रशिक्षण दिया गया था।
फिलहाल, पुलिस व अग्निशमन विभाग द्वारा जांच जारी है। हादसे ने औद्योगिक क्षेत्रों में सुरक्षा की व्यवस्थाओं पर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है।
1 thought on “सिकंदराबाद: वेस्ट मैनेजमेंट कंपनी में भीषण अग्निकांड, 6 मजदूर झुलसे, हालत नाजुक”
बेहद दुःखद घटना
अल्लाह से दुआ है सभी घायलों को शिफ़ा अता फरमाए। आमीन
प्रथम दृष्टा मामला बेहद गंभीर लापरवाही है। वैल्डिंग वाले तो बेवक़ूफ़ और अनपढ़ ही होंगे मगर प्रोजेक्ट मैनेजमेंट क्या सो रहे थे। उन्हें नहीं पता कि इस परिणाम क्या हो सकते हैं। इनके खिलाफ तो मामला दर्ज हो ही प्रशासन को हुआ ؟ उन्हें मानकों को बार बार चेक कर कार्यवाही करनी चाहिए। यदि किसी जान की क्षति हुई तो कौन कौन ज़िम्मेदारी से भागेगा ये सब जानते हैं।